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आगरा के थाना जगदीशपुरा के नाला गोपालपुरा मोहल्ले में रविवार रात को जूता कारीगर रघुवीर सिंह (52) ने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। उन्होंने जिस कमरे में फांसी लगाई, उसमें एक सुसाइड नोट भी छोड़ा, जिसमें आर्थिक तंगी में यह कदम उठाने की बात कही है। पुलिस ने सुसाइड नोट कब्जे में ले लिया। शव का पोस्टमार्टम कराया।
नाला गोपालपुरा निवासी रघुवीर सिंह आठ साल से किराये के मकान में पत्नी कमलेश और चार बच्चों के साथ रह रहे थे। बड़े बेटे अमित ने बताया कि पिता रविवार रात को खाना खाने के बाद परिवार के साथ छत पर सोए थे। रात तीन बजे उसकी आंख खुली। पिता छत पर नहीं मिले।
इस पर वो नीचे कमरे में आया। कमरे का गेट बंद था। उसने गेट खोला तो पिता का शव पंखे से लटका हुआ हुआ था। यह देखकर घर में कोहराम मच गया। इसके बाद उन्हें अस्पताल लेकर गए, जहां रघुवीर सिंह को मृत घोषित कर दिया गया। सूचना पर पुलिस पहुंच गई।
बेटे अमित ने बताया कि पिता आठ साल पहले लॉटरी (बीसी) चलाते थे। मगर, उसमें घाटा हो गया। कई लोगों ने पहले ही पैसा ले लिया। इसके बाद पैसा नहीं दिया। इस कारण पिता पर आठ लाख रुपये का कर्ज हो गया। उन्हें अपना मकान बेचना पड़ गया।
मकान बिक्री से जो रकम मिली, उससे कर्ज चुका दिया। बाकी रकम घर के खर्च में चली गई। अब पिता जूता कारखाना में काम कर रहे थे। मगर, होली के बाद से कारखाना बंद था। इस कारण काम पर नहीं जा रहे थे।
24 मार्च को लॉकडाउन के बाद से घर पर ही थे। अमित को भी काम नहीं मिल पा रहा था। इससे घर में जो जमा पूंजी थी खर्च हो गई। मकान का किराया भी नहीं निकल पा रहा था। इस कारण पिता परेशान थे।
पुलिस का कहना है कि रघुवीर सिंह ने जिस कमरे में फांसी लगाई, उसमें कागज पर लिखा एक सुसाइड नोट मिला है। इसमें लिखा था कि नौकरी न लगने के कारण पूरा जीवन आर्थिक परेशानी से गुजरा।
25 हजार रुपये जो हाथ में थे, वो लॉकडाउन में बैठकर खाने में खर्च हो गए। अब आगे क्या होगा। अभी काम भी बंद है। किराया खर्चा कहां से होगा। इसी परेशानी आर्थिक तंगी के कारण अपनी जीवन लीला समाप्त कर रहा हूं।
परिवार में मचा कोहराम
रघुवीर सिंह के चार बच्चे हैं। इनमें बेटा अमित बड़ा है, इससे छोटी बेटी वैशाली, मोना और राज है। रघुवीर के बड़े भाई ललित की तीन महीने पहले बीमारी के चलते मौत हो गई थी। रघुवीर की पत्नी कमलेश की आंसू नहीं रुक रहे हैं।
सार
सुसाइड नोट में लिखा पच्चीस हजार रुपये कमाई के थे खर्च हुए अब आगे का संकट
विस्तार
आगरा के थाना जगदीशपुरा के नाला गोपालपुरा मोहल्ले में रविवार रात को जूता कारीगर रघुवीर सिंह (52) ने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। उन्होंने जिस कमरे में फांसी लगाई, उसमें एक सुसाइड नोट भी छोड़ा, जिसमें आर्थिक तंगी में यह कदम उठाने की बात कही है। पुलिस ने सुसाइड नोट कब्जे में ले लिया। शव का पोस्टमार्टम कराया।
नाला गोपालपुरा निवासी रघुवीर सिंह आठ साल से किराये के मकान में पत्नी कमलेश और चार बच्चों के साथ रह रहे थे। बड़े बेटे अमित ने बताया कि पिता रविवार रात को खाना खाने के बाद परिवार के साथ छत पर सोए थे। रात तीन बजे उसकी आंख खुली। पिता छत पर नहीं मिले।
इस पर वो नीचे कमरे में आया। कमरे का गेट बंद था। उसने गेट खोला तो पिता का शव पंखे से लटका हुआ हुआ था। यह देखकर घर में कोहराम मच गया। इसके बाद उन्हें अस्पताल लेकर गए, जहां रघुवीर सिंह को मृत घोषित कर दिया गया। सूचना पर पुलिस पहुंच गई।
लॉटरी में बिक गया था मकान
बेटे अमित ने बताया कि पिता आठ साल पहले लॉटरी (बीसी) चलाते थे। मगर, उसमें घाटा हो गया। कई लोगों ने पहले ही पैसा ले लिया। इसके बाद पैसा नहीं दिया। इस कारण पिता पर आठ लाख रुपये का कर्ज हो गया। उन्हें अपना मकान बेचना पड़ गया।
मकान बिक्री से जो रकम मिली, उससे कर्ज चुका दिया। बाकी रकम घर के खर्च में चली गई। अब पिता जूता कारखाना में काम कर रहे थे। मगर, होली के बाद से कारखाना बंद था। इस कारण काम पर नहीं जा रहे थे।
24 मार्च को लॉकडाउन के बाद से घर पर ही थे। अमित को भी काम नहीं मिल पा रहा था। इससे घर में जो जमा पूंजी थी खर्च हो गई। मकान का किराया भी नहीं निकल पा रहा था। इस कारण पिता परेशान थे।
'लॉकडाउन में खर्च हो गए 25 हजार रुपये'
पुलिस का कहना है कि रघुवीर सिंह ने जिस कमरे में फांसी लगाई, उसमें कागज पर लिखा एक सुसाइड नोट मिला है। इसमें लिखा था कि नौकरी न लगने के कारण पूरा जीवन आर्थिक परेशानी से गुजरा।
25 हजार रुपये जो हाथ में थे, वो लॉकडाउन में बैठकर खाने में खर्च हो गए। अब आगे क्या होगा। अभी काम भी बंद है। किराया खर्चा कहां से होगा। इसी परेशानी आर्थिक तंगी के कारण अपनी जीवन लीला समाप्त कर रहा हूं।
परिवार में मचा कोहराम
रघुवीर सिंह के चार बच्चे हैं। इनमें बेटा अमित बड़ा है, इससे छोटी बेटी वैशाली, मोना और राज है। रघुवीर के बड़े भाई ललित की तीन महीने पहले बीमारी के चलते मौत हो गई थी। रघुवीर की पत्नी कमलेश की आंसू नहीं रुक रहे हैं।